सामाजिक सरोकारों से जुड़े जन मुद्दों पर बेबाकी से अपनी बात रखने वाले डॉक्टर संपूर्णानंद मल्ल जिन्हें पूर्वांचल गांधी कहा जाता है, बाल दिवस के मौके पर राष्ट्रपति मुर्मू को पत्र लिखते हुए कहा है कि
आजादी ‘हिंदू-मुस्लिम एकता, शहादत/कुर्बानी का परिणाम है. हिंदू, हिंदुत्व, हिंदू एकता का नहीं. नफरत फैला कर हिंदू-मुस्लिम एकता तोड़ने वाले नरेंद्र मोदी मा. प्रधानमंत्री को बर्खास्त करें.
गांधी, भगत सिंह, अंबेडकर, कलाम के इस महान मुल्क की आंतरिक ‘यूनिटी एंड इंटीग्रिटी’ को प्रधानमंत्री जी वैसे ही तोड़ रहे हैं, जैसे ऊपर से सलामत दिखने वाला गेहूं अंदर से ‘घून’ खा जाता है.
हेटफुल स्पीचेज, सुपरस्टीशन/हिपोक्रिसी द्वारा “हिंदू एकता तोड़ने की साजिश नाकाम हुई.” अयोध्या में पत्थर की राम प्रतिमा में प्राण डालना ‘नरेंद्र मोदी बयान
हिंदू-मुस्लिम एकता को पल-पल कमजोर करने वाले नरेंद्र मोदी क्या इसलिए प्रधानमंत्री बने रहेंगे कि पार्टी के संसदीय दल के सदस्यों ने उन्हें अपना नेता चुना है?
हमें यह नहीं भूलना चाहिए कि हमारी आजादी हिंदू-मुस्लिम एकता ‘शहादत ‘फांसी देने के बाद मिली है. भगत सिंह मुसलमान के बिना नहीं रह सकते थे.
गांधी के हृदय में एक तरफ मुसलमान और दूसरी तरफ दलित/हरिजन निवास करते थे. यह महान मुल्क अंबेडकर के संविधान एवं कलाम के विज्ञान का है.
संविधान में नागरिकों के मौलिक कर्तव्य में “साइंटिफिक टेंपर” (नरेंद्र मोदी ने गंगा को आरती से पवित्र करना) एवं ह्यूमैनिटी” की बात की गई है.
मोदी अयोध्या में 22 जनवरी को 22 लाख दीप जलाना जबकि देश में आज 22 करोड लोग कुपोषित हैं जिनकी तरकारी पानी में बनती है,
जो दाल के अभाव में रोटी-पानी नमक खाते हैं. ऐसी स्थिति में नरेंद्र मोदी की सत्ता बर्खास्त की जाए क्योंकि इन्होंने संविधान की आत्मा, जीवन एवं मानवता की हत्या की है.


