RSS को तत्काल बैन करने के लिए पूर्वांचल गाँधी ने राष्ट्रपति मुर्मू को लिखा पत्र

gorakhpur halchal

सुप्रीम कोर्ट के CJI पर फेंका गया जूता आस्था, अंधविश्वास, पाखंड, भय, हिंसा, नफरत वाले ‘हिंदू राष्ट्र’ का जूता है-पूर्वांचल गाँधी

RSS ‘हिंदू राष्ट्र’ की मांग करने वाला एक अलगाववादी संगठन है, यद्यपि गांधी की हत्या में RSS का सीधा हाथ नहीं था किन्तु इसने ऐसी परिस्थितियां पैदा कर दी

सरदार पटेल के इस कथन को उठाते हुए पूर्वांचल गाँधी डॉ सम्पूर्णानन्द मल्ल ने राष्ट्रपति द्रौपदी मुर्मू को पत्र लिखकर RSS पर प्रतिबन्ध लगाने की माँग किया है.

पूर्वांचल गाँधी ने लिखा है कि 22 जनवरी, 24 को पीएम नरेंद्र मोदी अयोध्या में राम को जीवित कर रहे थे, उस दिन मैं घर में सत्याग्रह कर रहा था, मैं हाउस अरेस्ट था.

एक मीडिया वाला मेरे पास यह पूछने आया कि भारत ‘हिंदू राष्ट्र बनेगा या नहीं? मैंने उत्तर दिया “जब तक इस देश में

“संविधान” है और उसके हिफाजत के लिए सर्वोच्च न्यायालय की मजबूत दीवारें खड़ी हैं भारत हिंदू राष्ट्र नहीं बन सकता.

संविधान तो अयोध्या में ही तोड़ दिया गया और सर्वोच्च न्यायालय की मजबूत दीवारों पर हिंदुत्व के हुड़दंगाईयों ने 100 वर्ष पुराना हथोड़ा बजा दिया.

मै काउंटर में इतना ही कहूँगा कि इससे बड़ा हथोड़ा हिंदुत्ववादी RSS एवं उससे निकले हिंदुत्व के हुड़दंगाईयों पर बजाना पड़ेगा यानी RSS को बैन करें.

यदि यह हथौड़ा आज नहीं मारा गया तो भारत आंतरिक रूप से तीन ‘हिंदू राष्ट्र, ”दलित पिछड़ा राष्ट्र,’ ‘मुसलमान देश’ में बट जाएगा.

यहाँ याद दिलाते चलें कि अपने पत्र की प्रतियाँ सर्वोच्च न्यायालय के मुख्य न्यायाधीश, इलाहाबाद उच्च न्यायालय के मुख्य न्यायाधीश तथा केन्द्रीय गृह मंत्री को भी भेजा है.

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